प्रयागराज: बुधवार को चंद्रशेखर आज़ाद की पुण्यतिथि पर ब्राह्मण समाज उत्थान सेवा संस्था ने किया भावपूर्ण आयोजन, डॉ. श्याम प्रकाश द्विवेदी बोले – “आज़ाद भारत माता का स्वाभिमान हैं देश की आज़ादी के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले अमर शहीद पंडित चंद्रशेखर आज़ाद की पुण्यतिथि के अवसर पर आज प्रयागराज के ऐतिहासिक कम्पनी बाग स्थित चंद्रशेखर आज़ाद पार्क में ब्राह्मण समाज उत्थान सेवा संस्था द्वारा एक भव्य और भावपूर्ण श्रद्धांजलि समारोह आयोजित किया गया।
यह वही पावन भूमि है जहाँ 27 फरवरी 1931 को आज़ाद ने अंग्रेजों से घिरे होने के बावजूद गुलामी की जंजीरें पहनने से इंकार कर अंतिम गोली खुद को मार ली और अपने नाम “आज़ाद” को अंतिम क्षण तक जीवित रखा।
*माल्यार्पण कर नमन*
संस्था के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. श्याम प्रकाश द्विवेदी के नेतृत्व में उपस्थित पदाधिकारियों ने पंडित जी की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर उन्हें सादर नमन किया। वातावरण “वंदे मातरम्”, “भारत माता की जय” और “चंद्रशेखर आज़ाद अमर रहें” जैसे नारों से गूंज उठा।
*डॉ. द्विवेदी ने श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए कहा*
चंद्रशेखर आज़ाद सिर्फ एक नाम नहीं, बल्कि भारत माता के
स्वाभिमान, साहस और बलिदान का प्रतीक हैं। आज़ाद ने अपना पूरा जीवन देश को स्वतंत्र कराने के लिए समर्पित कर दिया। ऐसे योद्धा का जीवन आज के युवाओं के लिए प्रेरणा की जीवित मिसाल है।उन्होंने यह भी कहा कि यदि आज का युवा चंद्रशेखर आज़ाद के विचारों और आदर्शों को आत्मसात कर ले, तो भारत फिर से विश्वगुरु बन सकता है।
*पंडित आज़ाद के जीवन की प्रेरक झलक*
🔸 जन्म 23 जुलाई 1906, अलीराजपुर (म.प्र.)
🔸 प्रसिद्ध घटनाएं काकोरी कांड, लाला लाजपत राय की हत्या का प्रतिशोध, असेम्बली बम कांड
🔸 मूल मंत्र”दुश्मन की गोली का हम सामना करेंगे, आज़ाद ही जिए हैं, आज़ाद ही मरेंगे!”
🔸 शहादत 27 फरवरी 1931, प्रयागराज (अल्फ्रेड पार्क)
*कार्यक्रम में मौजूद प्रमुख पदाधिकारी*
एडवोकेट विष्णु दत्त मिश्रा – राष्ट्रीय अध्यक्ष, विधि प्रकोष्ठ
राजेंद्र कुमार त्रिपाठी – राष्ट्रीय महामंत्री
सुशील मिश्रा – राष्ट्रीय उपाध्यक्ष
आशीष दुबे – प्रदेश अध्यक्ष
विशाल मिश्रा – जिलाध्यक्ष, विधि
रजनीश शुक्ला – उपाध्यक्ष
ललिता मिश्रा – महिला पदाधिकारी
सभी पदाधिकारियों ने आज़ाद जी के चित्र के समक्ष दीप जलाकर श्रद्धा सुमन अर्पित किया और दो मिनट का मौन रखकर उनके बलिदान को नमन किया।
